यूपी में वेस्ट प्लास्टिक के जरिये 605 किमी सड़क का नवीनीकरण

लखनऊ, उत्तर प्रदेश में सड़कों के मरम्मत में सिंगल वेस्ट प्लास्टिक का उपयोग पर्यावरण संरक्षण की दिशा में अहम भूमिका निभा रहा है।
अधिकृत सूत्रों ने बताया कि सड़कों के नवीनीकरण कार्य के बाद रोड की सतह चिकनी और सुरक्षित होने के साथ ही अधिक समय तक चलती है। अभी तक 605.79 किमी के सड़क के नवीनीकरण में 690 टन सिविल यूज वेस्ट प्लास्टिक का उपयोग किया जा चुका है।
उन्होने बताया कि ग्रामीण सड़कों के नवीनीकरण/अनुरक्षण कार्यों में ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन में कमी किये जाने के उद्देश्य से में चार नई तकनीकों का इस्तेमाल किया जा रहा है। इन तकनीकों में वेस्ट प्लास्टिक के उपयोग के साथ बिटुमिनस कॉन्क्रीट का कार्य प्रदेश के 35 जनपदों में 171 मार्गों, लम्बाई 1121.383 किमी में रिन्यूवल (नवीनीकरण) कार्य सम्पादित हो रहा है। जिसमें अद्यतन 605.79 किमी का कार्य पूर्ण कराते हुये 690 टन वेस्ट प्लास्टिक का उपयोग कराकर पर्यावरण को संरक्षित किया गया है।
उप्र प्रदेश राज्य ग्रामीण सड़क विकास अभिकरण के सीईओ अखण्ड प्रताप सिंह ने बताया कि उप्र ग्रामीण सड़क विकास अभिकरण द्वारा ग्रामीण विकास मंत्रालय, भारत सरकार के स्तर से प्रदेश को प्राप्त प्रोत्साहन धनराशि (इन्सेन्टिव मनी) से प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के अन्तर्गत निर्मित पोस्ट डीएलपी के 306 मार्गों, लम्बाई 1911.30 किमी पर ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन में कमी किये जाने के परिपेक्ष्य में 4 नई तकनीकों यथा-30 एमएम मोटाई में सीजीबीएम तकनीक, 30 एमएम मोटाई में कोल्ड मिक्स के साथ बिटुमिनस कॉन्क्रीट ,30 एमएम मोटाई में एमएसएस तकनीक एवं 30 एमएम मोटाई में वेस्ट प्लास्टिक के साथ बिटुमिनस कॉन्क्रीट के प्रयोग के साथ रिन्यूवल कार्य सम्पादित कराया जा रहा है।
राज्य ग्रामीण सड़क विकास अभिकरण में राज्य गुणवत्तायुक्त समन्वयक बी के दुबे व राज्य तकनीकी अधिकारी डी डी पाठक ने बताया कि इन तकनीकों से रिन्यूवल का कार्य कराकर ग्रीन हाउस गैस उर्त्सजन में अत्यधिक कमी करते हुये अभिकरण द्वारा वेस्ट प्लास्टिक का भी उपयोग कर पर्यावरण को संरक्षित करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया जा रहा है।