‘डाटा इनक्रिप्शन’ से लैस होगी पर्यटन विभाग की वेबसाइट

‘डाटा इनक्रिप्शन’ से लैस होगी पर्यटन विभाग की वेबसाइट

लखनऊ, उत्तर प्रदेश की आर्थिक उन्नति का मार्ग प्रशस्त कर रही योगी सरकार औद्योगिक निवेश की बढ़ती संभावनाओं के बीच प्रदेश में पर्यटन के परिदृश्य को भी नया आयाम प्रदान कर रही है। प्रदेश में पर्यटन के लिहाज से बढ़ती संभावनाओं के बीच महाकुंभ 2025 को लेकर अभी से तैयारियां शुरू हो गई हैं।

उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग ने तमाम तरह की तैयारियां शुरू कर दी हैं। इस क्रम में, उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग ने अपनी आधिकारिक वेबसाइट डब्लूडब्लूडब्लू.यूपीटूरिज्म.इन के एनुअल मेंटिनेंस, अपडेशन व नई खूबियों से लैस करने की प्रक्रिया को शुरू करते हुए रिक्वेस्ट फॉर प्रपोजल (आरएफपी) माध्यम से आवेदन मांगे हैं। इस आवेदन प्रक्रिया से एजेंसी का निर्धारण होगा जो विभाग की वेबसाइट को डाटा इनक्रिप्शन, सर्च इंजन ऑप्टोमाइजेशन (एसईओ), एरर फ्री यूजर एक्सपीरिएंस व रेगुलर सॉफ्टवेयर अपडेट्स समेत तमाम तकनीकी खूबियों से लैस करेगी। इसके अलावा प्रयागराज महाकुंभ में लगने वाली टेंट सिटी के विभिन्न सेक्टर्स के आवेदन की प्रक्रिया को पर्यटन विभाग द्वारा शुरू कर दिया गया है।

उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग की वेबसाइट राज्य में पर्यटन से संबंधित जानकारी व संसाधनों के लिए एक केंद्रीय केंद्र के रूप में कार्य करती है। वेबसाइट को उत्तर प्रदेश में पर्यटन के प्रचार और विकास में रुचि रखने वाले पर्यटकों तथा हितधारकों दोनों के लिए जानकारी और सेवाओं की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदान करने के लिए डिज़ाइन किया गया है। ऐसे में, विभाग ने अपने आधिकारिक वेब पोर्टल के वार्षिक रखरखाव और प्रबंधन के लिए अनुभवी और योग्य सेवा प्रदाताओं से आरपीएफ माध्यम के जरिए आवेदन मांगे हैं। ऐसे में, वेब पोर्टल के वार्षिक रखरखाव के लिए 3 साल के अनुबंध पर एजेंसी को आबद्ध किया जाएगा जो वेबसाइट की कार्यक्षमता, प्रबंधन में वृद्धि कर सिक्योरिटी व ऑप्टोमाइजेशन समेत तमाम फीचर्स से लैस करेगा। वेबसाइट पहले से ही स्टेट डेटा सेंटर पर होस्ट की गई है और रखरखाव के दौरान उसी प्लेटफॉर्म पर होस्ट की जाएगी।

राज्य के नवीनतम विकास व पर्यटक आकर्षण स्थलों से जुड़े टेक्स्ट, फोटो व वीडियो के वेबसाइट अपडेशन और डाउनलोड, ईजी व एररलेस यूजर एक्सपीरिएंस सुनिश्चित करने के लिए तकनीकी समस्याओं, ब्रोकन लिंक्स लिंक्स तथा वेबसाइट की त्रुटियों की निरंतर निगरानी और समाधान की प्रक्रिया को सुचारू करने के लिहाज से एजेंसी द्वारा की जाने वाली एनुअल मेंटिनेंस प्रक्रिया काफी प्रभावी होगी।

इसके अलावा, वेबसाइट की गति और पहुंच में सुधार के लिए नियमित सॉफ़्टवेयर अपडेट, सुरक्षा पैच और प्रदर्शन अनुकूलन पर भी ध्यान दिया जाएगा। मेंटिनेंस वर्क्स से एजेंसी नेविगेशन में आसानी, सहज डिज़ाइन और सभी डिवाइसों पर प्रतिक्रिया सुनिश्चित करने के लिए वेबसाइट के उपयोगकर्ता इंटरफ़ेस (यूआई) और उपयोगकर्ता अनुभव (यूएक्स) में निरंतर सुधार की प्रक्रिया को गति दी जाएगी। सर्च इंजन पर वेबसाइट की दृश्यता बढ़ाने के लिए ऑन-पेज और ऑफ-पेज एसईओ के लिए सर्वोत्तम प्रथाओं के कार्यान्वयन, ऑनलाइन बुकिंग व बुकिंग प्रक्रियाओं को एररलेस बनाने तथा सिक्योरिटी एनक्रिप्शन को बढ़ाने समेत सिक्योरिटी एसेसमेंट प्रक्रिया में वृद्धि करने के लिए सिक्योर सॉकेट लेयर (एसएसएल) प्रक्रिया को लागू करने की दिशा में भी कार्य किया जाएगा।

प्रयागराज के संगम तट पर वर्ष 2025 में आयोजित होने वाले महाकुंभ को लेकर भी पर्यटन विभाग द्वारा तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। इस क्रम में, उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग ने ई-निविदा के माध्यम से महाकुंभ में लगने वाली टेंट सिटी में टेंट्स लगाने के लिए आवेदन मांगे हैं। मौजूदा प्रक्रिया में कुल 9 प्रकार की निविदाओं के लिए आवेदन मांगे हैं जिनमें ब्लॉक एफ-1, एफ-2 एफ-3, एफ-5, ई-1, ई-2, ई-3, ई-4 तथा ई-5 में टेंट सिटू डेवलप करने के लिए एजेंसी के निर्धारण के लिए आवेदन मांगे गए हैं। इन सभी निविदाओं से कार्य प्राप्त करने वाली एजेंसियों को टेंट सिटी के अलग-अलग ब्लॉक्स में विभिन्न प्रकार की सुविधा युक्त टेंट सिटी के निर्माण व प्रबंधन का कार्य करना होगा।

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